उत्तराखण्ड

रजिस्ट्री कार्यालयों में भ्रष्टाचार के आरोपी सब रजिस्ट्रार रामदत्त सस्पेंड

देहरादून: प्रदेश की राजधानी दून के रजिस्ट्री कार्यालय में लंबे समय से चले आ रहे फर्जीवाडे के मद्देनजर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरूवार को भ्रष्टाचार के खिलाफ एक और एक्शन लेते हुए सब रजिस्ट्रार राम दत्त मिश्र को सस्पेंड कर दिया है। मुख्यमंत्री धामी का कहना है कि रजिस्ट्री कार्यालयों में व्यापक स्तर पर भ्रष्टाचार के संकेत मिले हैं। उन्होंने कहा कि रजिस्ट्री कार्यालयों में हो रहे गड़बड़झाला और भ्रष्टाचार को कतई भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मामलों की जांच के लिए पहले ही एसआईटी का गठन किया जा चुका है। जांच होने दीजिए किसी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। यहां यह उल्लेखनीय है कि बीते समय में कई ऐसे मामले सामने आ चुके हैं। रजिस्ट्री कार्यालय में जमीनों के मूल दस्तावेजों के गायब होने और उनकी जगह फर्जी दस्तावेज लगाए जाने से लेकर जमीनों की फर्जी तरह से हो रही खरीद-फरोख्त से शासन-प्रशासन में हड़कंप मचा हुआ है। मुख्यमंत्री और जिलाधिकारी इस मामले को अति गंभीर मामला मानते हुए इस बात की जांच में जुटे हुए हैं कि वह कौन व्यक्ति है जो इस तरह के कारनामों को अंजाम दे रहा है। अभी जिलाधिकारी द्वारा नगर निगम को भी यह आदेश दिए गए थे कि वह दाखिल खारिज से पूर्व दस्तावेजों की गहनता से जांच करने के बाद ही दाखिल खारिज करें। बीते रोज सचिव वित्त दिलीप जावलकर खुद सब रजिस्ट्रार कार्यालय पहुंचे थे उन्होंने कहा कि सभी रजिस्टर और सब रजिस्ट्रार तथा रिकॉर्ड रूमों की निगरानी मुख्यालय स्तर पर होगी। उन्होंने आईजी स्टाम को भी सभी कार्यालयों में सीसीटीवी लगाने और सुरक्षा ड्यूटी में लगे कर्मचारियों का ड्यूटी चार्ट अपडेट रखने के निर्देश दिए थे। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का कहना है कि जिस तरह के अनेक मामले अब तक प्रकाश में आए हैं वह चिंताजनक हैं तथा व्यापक स्तर पर भ्रष्टाचार के संकेत दे रहे हैं। उन्होंने आज सब रजिस्ट्रार के संस्पेंशन का आदेश देते हुए कहा कि अब इसकी पूरी जांच होगी और किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा।

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